भागवत भगवान आरती
आरती भागवत पुराण की (अंग्रेजी)
!! आरती अति पावन पुराण की,
धर्म भगति विज्ञान खान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! महापुराण भागवत निर्मल,
शुक-मुख-विग्लित निगम कल्प कल,
परमानंद सुधा-रस्मय फल,
लीला रति ये रस निधान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! कलिमाल-मथानी त्रिताप-निवारिणी,
जनम-मृत्यु भव-भय हारिनि,
सेवत संत सकल सुख कारिणी,
महा-औषधि हरि-चरित्र गान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! विषये विलास विमोह विनाशिनी,
विमल विराग विवेक विकासिनी,
भगवत्-तत्त्व-रहस्य-विकासिनि,
परम ज्योति परमात्मा ज्ञान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! परमहंस-मुनि मन उल्लासिनी,
ऋषि हृदयं रस रास-विलासिनी,
भुक्ति-मुक्ति-रति-प्रेम सुदासिनी,
कथा अकिंचन-प्रिये सुजान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
भागवत पुराण की आरती (हिंदी)
!! आरती अति पावन पुराण की,
धर्म भक्ति विज्ञान खान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! महा पुराण भागवत निर्मल,
शुक-मुख-विगलित निगम कल्प कल,
परमानंद सुधा-रसमय फल,
लीला रति यह रस निधान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! कलिमल-मथनि त्रिताप-निवारिणी,
जन्म-मृत्यु भव-भय हरिणी,
सेवावत संत सकल सुख कारिणी,
महौषधि हरि-चरित्र गान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! विषय विलास विमोह विनसिनी,
विमल विराग विवेक विकासिनी,
भगवत्-तत्व-रहस्य-विकासिनी,
परम ज्योति परमात्मा ज्ञान की,
आरती अति पावन पुराण की !!
!! परमहंस-मुनिमन उल्लासिनी,
रसिक हृदय रस रस-विलासिनी,
भक्ति-मुक्ति-रति-प्रेम सुदासिनी,
कथा अकिंचन-प्रिय सुजान की,
आरती अति पावन पुराण की !!